Sunday, May 19, 2024
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शूलिनी विश्वविद्यालय में नवोदित कहानीकारों के साथ एक सत्र आयोजित

सोलन : अंग्रेजी विभाग, शूलिनी विश्वविद्यालय के साहित्यिक समाज, बैलेट्रिसटिक ने जून 2021 में घोषित अपनी तीसरी लघु कहानी प्रतियोगिता के विजेताओं के लिए साहित्यिक सत्र का आयोजन किया।

प्रतियोगिता का शीर्षक ‘हियर कम्स द सन’ था। दो सर्वश्रेष्ठ प्रविष्टियों को लेखकों द्वारा एक आभासी सत्र में पढ़ा गया। चर्चा के लिए पैनल में संकाय सदस्य, विभागाध्यक्ष प्रो. मंजू जैदका, प्रो. तेज नाथ धर, डॉ. पूर्णिमा बाली, नीरज पिजार, साक्षी सुंदरम, राजेश विलियम्स और डॉ. नवरीत साही शामिल थे। सत्र में क्राइस्ट कॉलेज, राजकोट, गुजरात के पार्थ जोशी और स्कूल ऑफ इंग्लिश स्टडीज, विवेकानंद इंस्टीट्यूट ऑफ प्रोफेशनल स्टडीज, नई दिल्ली से बरनाली साहा भी शामिल हुए।

उत्कृष्ट कहानियों के लेखक गुजरात और दिल्ली के स्नातक छात्र थे। राजकोट के क्राइस्ट कॉलेज के अंतिम वर्ष के छात्र अनय भट्ट ने अपनी लघु कहानी जिसका  शीर्षक “इन्वर्टर” पर चर्चा की, उन्होंने महामारी के दौरान एक घर का वास्तविक जीवन परिदृश्य बनाया। कहानी में वर्णित जीवन का  ऐसा  विवरण था जिसे सभी वर्तमान महामारी की स्थिति से संबंधित कर सकते थे। विज्ञान के छात्र आनय ने अपने विचार का अनुसरण करना चुना  और बहुत रचनात्मक लेखन करते हैं। इसके अतिरिक्त, वह एक पुरस्कार प्राप्त वृत्तचित्र निर्माता हैं और  पटकथा लेखक भी। दूसरी लेखिका सुयशा द्विवेदी भी नई दिल्ली से स्नातक अंतिम वर्ष की छात्रा हैं। उनकी कहानी का शीर्षक “द कोंच शैल” था और यह एक ऐसी महिला के इर्द-गिर्द घूमती है, जिसका गर्भपात हो गया था। सुयशा प्रारंभिक आधुनिकतावादी परंपरा से प्रभावित लगती हैं और उनकी कहानी वर्जीनिया वूल्फ द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली चेतना की धारा की याद दिलाती है।

यह सत्र अन्य सभी छात्रों के लिए प्रेरणादायक साबित हुआ जो लिखने की इच्छा रखते हैं।

आने वाले सप्ताह में, बैलेट्रिसटिक  ब्रिटिश लेखक नाओमी एल्डरमैन द्वारा नारीवादी डायस्टोपियन उपन्यास, “द पावर” पर एक सत्र आयोजित करेगा। और  ईसके प्रस्तुतकर्ता हसन नासौर होंगे जो शूलिनी के डॉक्टरेट छात्र है।

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