दिल्ली में हुआ “धमाका”शुक्ला का पहला बड़ा कदम
सीधे दिल्ली दरबार से हुई कांग्रेस में एंट्री
आखिरकार भाजपा को उसकी बेवफाई का सिला मिल ही गया। पच्छाद से भाजपा से बागी होकर उपचुनाव लड़ने वाली दयाल प्यारी कांग्रेस में शामिल हो गईं। यह सब इतना गुपचुप हुआ कि हिमाचल के कांग्रेसियों को भी इसकी भनक नहीं लगी । सिवाए पीसीसी चीफ कुलदीप राठौर के इसकी जानकारों किसी को नहीं थी। इसे सीधे तौर पर बजुर्ग हो चुके गंगू राम मुसाफिर की पच्छाद में रिप्लेसमेंट के नजरिये से देखा जा रहा है। वीरभद्र सिंह भक्त रहे मुसाफिर के लिए अब टिकट की जंग में चुनौती मिलती नजर आ रही है। दयाल प्यारी को कांग्रेस में शामिल करने के लिए हर हलचल दिल्ली दरबार मे ही हुई। इस से सहज अंदाजा लगाया जा सकता है कि अगली रणनीति भी कितनी पुख्ता होगी। दिल्ली में उनको पार्टी की सदस्यता हिमाचल कांग्रेस प्रभारी राजीव शुक्ला और पवन बंसल ने दी। जाहिर है कि तार हाईकमान से जुड़े और धमाका हिमाचल की सियासत में हो गया। खैर,अब सिरमौर की सियासत से लेकर शिमला तक हलचल मच गई है। देर शाम तक अंदर की खबर भी आपके साथ सांझी की जाएगी। अभी तो डॉ बिंदल के नए सियासी महल नाहन और सिरमौर में भूकम्प बना है। कांग्रेस में भी सुनामी बन चुकी है।