शिमला
राज्यपाल द्वारा सदन में प्रस्तुत अभिभाषण पर विधायक डा. राजीव बिंदल ने धन्यावाद प्रस्ताव पेश करते हुए कहा कि सरकार ने इसे छापने में कंजूसी की है विकास के जो कार्य किए उन्हें शामिल करते तो इतना और छापा जा सकता था। उन्होंने कहा कि राज्यपाल के साथ किए गए दुर्व्यवहार ने प्रदेश को शर्मसार किया है और आजतक के इतिहास में ऐसी घटना नहीं हुई। विपक्ष के अधिकतर विधायक इसमें शामिल नहीं होना चाहते थे लेकिन भावनाओं में शामिल करवाया। राज्यपाल ने सदन में जो व्याख्यान दिया है, वह सत्य पर आधारित है, झूठ का पुलिंदा नहीं है। मुख्य सचेतक नरेंद्र बरागटा ने कहा कि विपक्ष राजभवन जाकर राज्यपाल से माफी मांगे और राज्यपाल के माफ करने पर हम भी मुख्यमंत्री से आग्रह करेंगे कि बडा दिल दिखाकर उन्हे माफ कर दें जिससे सदन की कार्यवाही बेहतर चल सके। कोविड काल में भी मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने विकास को रुकने नहीं दिया। कोविड से निपटने के लिए मुख्यमंत्री ने हर तैयारी की स्वंय माॅनीटरिंग की तथा उसके परिणाम आज सभी के सामने है। अभी तक 211 जनमंच हुए हैं जिसमें 47 हज़ार शिकायतों का निपटारा किया। कांग्रेस ऐसे आंदोलन कर रही है, जिसमें नृत्य कर किसानों की मृत्यु पर श्रदांजलि दी जा रही है।